आज का चिंतन
वसुदेवसुतं देवं कंसचाणूरमर्दनम्।
देवकीपरमानन्दं कृष्णं वन्दे जगद्गुरुम्॥
श्रीकृष्ण जन्मोत्सव की आपको सपरिवार हार्दिक बधाई.. कोटिश: शुभकामनाएं
आज का चिंतन
* संजय अग्रवाल
कर नहीं पाता
जीवन में बहुत से काम
ऐसे हैं जो हम चाहते हैं
कि करें लेकिन
कर नहीं पाते,
ऐसा क्यों होता है?
कारण
अपनी चाहत के अनुसार
काम नहीं कर पाने के
कारणों में मुख्यतया
अपनी क्षमता
का गलत आकलन,
कार्य की अनिवार्यता
नहीं होने की स्थिति,
टालते रहने की प्रवृत्ति,
पर्याप्त संसाधनों की कमी,
इच्छाशक्ति का अभाव,
बहानेबाजी की आदत,
अनावश्यक कार्यों में संलग्न
होते रहने की कमजोरी,
मन की शक्ति नहीं होना,
कार्य शुरू ही नहीं करना
इत्यादि कारण शामिल होते हैं।
निवारण
यदि हम कार्य को
समुचित रूप से
परिभाषित कर पाएं,
उसमें लगने वाले
समय, शक्ति और संसाधनों
का सही आकलन
कर पाएं,
फिर पर्याप्त इच्छाशक्ति से
उसे शुरू करें,
कदम दर कदम आगे बढ़ें,
गलतियों से सीखें और
पुनः नए प्रयोग व
नए प्रयास करते चलें,
दोषारोपण से बचें,
हिम्मत नहीं हारें,
आवश्यकतानुसार
सहयोग का
आदान-प्रदान
निरंतर करते रहें,
कार्य सिद्धि का पूर्ण विश्वास,
संकल्प और आत्मविश्वास
अटल, अविचल बना रहे,
अथक परिश्रम और
पराक्रम की पराकाष्ठा
यदि हम कर पाएं तो
सफलता निश्चित मिलेगी।
कर्म की पूर्णता को
सुनिश्चित करना
हमारे नियंत्रण में होता है।
और जो हमारे
नियंत्रण से बाहर है
वही प्रारब्ध होता है।
आईए देखते हैं कि
_नहीं कर पाने_ की स्थिति से
_कर पाने_ की स्थिति में
हम स्वयं को ला
पा रहे हैं या नहीं?
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- श्री संजय अग्रवाल आयकर विभाग, नागपुर में संयुक्त आयकर आयुक्त हैं. वे हमेशा लोगों से सम्पर्क और संवाद करने के लिये इच्छुक रहते हैं। इसीलिए वे संपर्क, संवाद और सृजन में सबसे अधिक विश्वास करते हैं। मानवीय मूल्यों और सम्बंधों का सूक्ष्म विश्लेषण के चितेरे श्री अग्रवाल "आज का चिंतन" नियमित रूप से लिख रहे हैं।